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Shardiya Navratri : माँ कात्यायनी की पूजा करने से मात्र 41 दिनों में होगी शादी 

Shardiya Navratri : माँ कात्यायनी की पूजा करने से मात्र 41 दिनों में होगी शादी 

(Desk : Ujala Agarwal)

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नवरात्र के दौरान 9 दिन मां दुर्गा के अलग-अलग स्वरूप की आराधना की जाती है। और नवरात्र के छठवें दिन मां कात्यायनी की आराधना की जाती है। बता दे, कि मां कात्यायनी का मंदिर भगवान श्री राधा कृष्ण की भूमि वृंदावन में है। जहां नवरात्र के दौरान बड़ी संख्या मे भक्त मां की आराधना करने के लिए पहुंचते हैं।

Navratri Special: कात्यायनी शक्तिपीठ, जहां कृष्ण को पति के रूप में पाने के लिए राधा ने की थी पूजा | Maa Katyayani Shakti Peeth or Uma Shakti Peeth Vrindavan Mathura Katha or

वृंदावन के राधा बाग इलाके में देवी के 51 शक्ति पीठों में कात्यायनी पीठ है। ऐसा बताया जाता है कि यहां माता सती के केश गिरे थे। और इसका जिक्र शास्त्रों में भी मिलता है। बता दे,कि नवरात्र के मौके पर देश-विदेश से लाखों भक्त माता के दर्शन करने के लिए यहां आते हैं।

आखिर भगवान ने क्यों किया महारास ?

Navratri Special (Day 6): Katyayani Devi of Braj - Vrindavan - Vrindavan Todayगीता के अनुसार, राधा रानी ने गोपियों के साथ भगवान कृष्ण को पति रूप में पाने के लिए कात्यायनी पीठ की पूजा की थी। जिसके बाद माता ने उन्हें वरदान दे दिया लेकिन भगवान एक और गोपियां अनेक, ऐसा संभव नहीं था। तभी भगवान् ने वरदान को साक्षात करने के लिए भगवान कृष्ण ने महारास किया। दरअसल भगवान ने 16108 गोपियों के साथ महारास करने के लिए भगवान ने 16108 रूप रखे और यमुना किनारे शरद पूर्णिमा की रात धवल चांदनी में महारास किया।

क्या है मंदिर की मान्यता ?

Krishna - Original photo #katyayanidevi temple #Vrindavan... | Facebook

ऐसा माना जाता है कि मां कात्यायनी के दर्शन करने से भक्तों की मनोकामना पूरी होती है। और ऐसा माना जाता है कि मां के चरणों में हल्दी या दही चढ़ाने से अच्छे वर की प्राप्ति होती है। इसके लिए कन्या को मंगलवार और गुरुवार को लगातार 48 दिनों तक हल्दी-दही मां को अर्पित करना होता है। साथ ही साथ कात्यायनी देवी के मंदिर में मंगल और शनि से ग्रसित लोगों के लिए पूजन भी किया जाता है। आपको बता दे , कि मां का रूप अति सौम्य है। और मां सिंहासन पर सवार है और एक हाथ में कमल पुष्प हैं और दूसरे में खड़क धारी है। काशी के प्रसिद्ध मंदिरों में से यह भी एक मंदिर है।

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