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पीएम किसान सम्मान निधि घोटाला, लौटाना पड़ेगा पैसा या जाना पड़ेगा जेल

लखनऊ/उत्तर प्रदेश
प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि स्कीम का लाभ लेने वाले अपात्र लोगों की अब खैर नहीं है। चाहे वह पेंशनधारक, टैक्सपेयर्स या पति-पत्नी दोनों स्कीम का लाभ ले रहे हों सभी अपात्रों से वसूली होगी और उन्हें जेल भी जाना पड़ सकता है। उत्तर प्रदेश में ऐसे किसानों से वसूली की प्रक्रिया शुरू हो गई है। पिछले साल मैनपुरी जिले में शासन ने 9219 अपात्र किसानों की सूची कृषि विभाग को भेजी है। वहीं, झारखंड, तेलंगाना, बिहार, उत्तर प्रदेश के कई जिलों में इन अपात्र किसानों को नोटिस जारी कर पीएम किसान का पैसा जमा कराने के आदेश दिए गए हैं। बहुत से लोग ऐसे हैं जो पात्र नहीं हैं फिर भी किसान सम्मान निधि का लाभ ले रहें हैं। किसान सम्मान निधि का लाभ लेने वाले अपात्र लोग शायद यह नहीं जानते कि उनका नाम आधार व पैन से भी लिंक है। ऐसे में उनकी आमदनी से लेकर उनके खेती बारी से जुड़े अन्य विवरण का पता लगाना सरकार के लिए आसान है।

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कौन लोग नहीं ले सकते किसान सम्मान निधि का लाभ
प्रोफेशनल रजिस्टर्ड डॉक्टर, इंजिनियर, वकील, चार्टर्ड अकाउंटेंट या इनके परिवार के लोग।
मौजूदा या पूर्व सांसद, विधायक, मंत्री उन्हें पीएम किसान योजना का लाभ नहीं मिलता।
अगर परिवार में कोई टैक्सपेयर है तो इस योजना का लाभ उसे नहीं मिलेगा। परिवार का आशय पति-पत्नी और अवयस्क बच्चे से है।
जो लोग खेती की जमीन का इस्तेमाल कृषि कार्य की जगह दूसरे कामों में कर रहे हैं उनको इस योजना का लाभ नहीं मिलेगा।
बहुत से किसान दूसरों के खेतों पर किसानी का काम तो करते हैं, लेकिन खेत के मालिक नहीं होते तो उनको इस योजना का लाभ नहीं मिलेगा।
यदि कोई किसान खेती कर रहा है, लेकिन खेत उसके नाम नहीं है तो उसे इस योजना का लाभ नहीं मिलेगा।
अगर खेत उसके पिता या दादा के नाम है तब भी वे इस योजना का फायदा नहीं उठा सकते।
अगर कोई खेती की जमीन का मालिक है, लेकिन वह सरकारी कर्मचारी है या रिटायर हो चुका हो तो उसको इस योजना का लाभ नहीं मिलेगा।
कोई व्यक्ति खेत का मालिक है, लेकिन उसे 10000 रुपये महीने से अधिक पेंशन मिलती है तो उसको इस योजना का लाभ नहीं मिलेगा।
प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना के तहत पैसे लेने वाले अपात्र किसानों को उप कृषि निदेशक कार्यालय में नकद जमा करनी होगी। धनराशि जमा करने पर उन्हें रसीद दी जाएगी। बाद में विभाग शासन के खाते में ये धनराशि जमा कर ऑनलाइन पोर्टल पर फीडिंग के साथ ही किसान का डाटा डिलीट कराएगा।

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