Hindi English Marathi Gujarati Punjabi Urdu
Hindi English Marathi Gujarati Punjabi Urdu

कौन हैं अमरमणि त्रिपाठी? प्यार और फिर कत्ल ने बर्बाद कर दी जिंदगी, कभी यूपी की सियासत में बोलती थी तूती

यूपी के चर्चित कवयित्री मधुमिता शुक्ला हत्याकांड मामले में सजायाफ्ता पूर्वांचल के बाहुबली अमरमणि त्रिपाठी आज अपनी पत्नी मधुमणि के साथ जेल से रिहा हो रहे हैं। अमरमणि के अच्छे आचरण के चलते यूपी सरकार ने समय से पहले रिहाई का आदेश जारी कर दिया है। अमरमणि त्रिपाठी 20 साल बाद जेल की सलाखों से बाहर आ रहे हैं। कभी यूपी की सियासत में जिसकी तूती बोलती थी, उस शख्स की जिंदगी कैसे बर्बाद हो गई, चलिए आपको पूरी कहानी बताते हैं।

- Advertisement -

अमरमणि त्रिपाठी का नाम यूपी के बाहुबली नेताओं में आता है। एक समय था जब पूर्वी यूपी में उनकी तूती बोलती थी। यूपी की राजनीति में वो कभी सपा तो कभी बसपा और कभी कमल के फूल के साथ रहकर सत्ता का सुख भोगते रहे, लेकिन मधुमिता हत्याकांड के बाद उनकी जिंदगी पूरी तरह से बर्बाद हो गई।

अमरमणि त्रिपाठी ने अपनी राजनीति के शुरुआत भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी से की, लेकिन इसके बाद वो कांग्रेस के साथ आ गए। उन्होंने कांग्रेस के बाहुबली नेता हरिशंकर तिवारी का अपना राजनीतिक गुरु बनाया। राजनीति में आने से पहले ही वो अपराध की दुनिया में एंट्री कर चुके थे। उनपर हत्या, लूट और मारपीट जैसे कई मामले दर्ज हुए और देखते ही देखते पूर्वी यूपी में उनकी तूती बोलने लगी।

अमरमणि त्रिपाठी ने साल 1996 में पहली बार महाराजगंज की नौतनवा विधानसभा सीट से कांग्रेस के टिकट से चुनाव लड़ा और जीत हासिल की। यहां से लगातार चार बार विधायक रहे। 1997 में वे कांग्रेस को छोड़कर लोकतांत्रिक कांग्रेस पार्टी में शामिल हो गए और फिर कल्याण सिंह की सरकार में मंत्री बन गए। साल 2001 में बस्ती के एक बिजनेसमैन के बेटे के अपहरण मामले में उनका नाम आया तो बीजेपी ने उनसे किनारा कर लिया।

2002 में अमरमणि त्रिपाठी बसपा के साथ आ गए और नौतनवा सीट से फिर चुनाव जीत गए. 2002 में मायावती की सरकार बनाने में उन्होंने अहम भूमिका निभाई। 2003 में वे समाजवादी पार्टी के साथ आ गए और मायावती की सरकार गिरवा दी। इसके बाद राज्य में मुलायम सिंह सरकार बना और उन्हें कैबिनेट मंत्री बनाया गया। लेकिन 2003 में ही कवयित्री मधुमिता शुक्ला हत्याकांड के बाद उनके जीवन में ऐसा भूचाल आया कि वे फिर बर्बाद ही होते चले गए।

लखनऊ में मधुमिता की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी, जांच में पता चला कि वो गर्भवती थी। डीएनए जांच में बच्चे के पिता के तौर पर अमरमणि त्रिपाठी का नाम आया। साल 2007 में उन्हें दोषी पाया गया और अदालत ने उन्हें आजीवन कैद की सजा सुनाई।

विज्ञापन बॉक्स (विज्ञापन देने के लिए संपर्क करें)

इसे भी पढे ----

वोट जरूर करें

क्या आपको लगता है कि बॉलीवुड ड्रग्स केस में और भी कई बड़े सितारों के नाम सामने आएंगे?

View Results

Loading ... Loading ...

आज का राशिफल देखें