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नौकरी के बदले जमीन घोटाले के मामला: बिहार की पूर्व सीएम राबड़ी देवी को कोर्ट से बड़ी राहत

रेलवे में नौकरी के बदले जमीन घोटाला मामले में बिहार की पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी को बहुत बड़ी राहत मिल गई है। दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट ने राबड़ी देवी के साथ ही उनकी बेटियों हेमा और मीसा भारती को इस मामले में 28 फरवरी तक अंतरिम जमानत दे दी है।

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विशेष कोर्ट (धन शोधन निवारण अधिनियम) ने मामले में ED की शिकायत के बाद बिहार के लालू यादव परिवार के कई सदस्यों को समन जारी किया था। इसमें लालू यादव की पत्नी राबड़ी देवी, उनकी बेटियां मीसा यादव और हेमा भारती शामिल थीं। जानकारी के अनुसार , ईडी ने 8 जनवरी,साल 2024 को PMLA साल 2002 के प्रावधानों के तहत अमित कत्याल, राबड़ी देवी, मीसा भारती, हेमा यादव, हृदयानंद चौधरी और दो कंपनियों मेसर्स ए के इंफोसिस्टम्स प्राइवेट लिमिटेड, मैसर्स ए बी एक्सपोर्ट्स प्रा. लिमिटेड के खिलाफ अभियोजन शिकायत दर्ज की थी।

शिकायत नौकरी के लिए भूमि घोटाले मामले में विशेष न्यायालय (PMLA ) नई दिल्ली के समक्ष पेश की गई। विशेष कोर्ट ने 27 जनवरी को इस मामले को संज्ञान लिया और आरोपी व्यक्तियों को आगे की सुनवाई के लिए 9 फरवरी को उपस्थित होने के लिए नोटिस जारी किया था।

प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने किया था बड़ा दावा

उधर, ईडी ने बिहार में जमीन के बदले नौकरी मामले में बड़ा दावा किया था। ईडी के अनुसार RJD सुप्रीमो लालू प्रसाद की पत्नी और बिहार की पूर्व CM राबड़ी देवी की गौशाला के एक पूर्व कर्मचारी ने रेलवे में नौकरी पाने के इच्छुक अभ्यर्थियों से संपत्ति हासिल की और बाद में उसे लालू प्रसाद यादव के परिवार को सौंप दी। केंद्रीय एजेंसी ने इस महीने की शुरुआत में दिल्ली की एक अदालत में आरोप-पत्र दाखिल किया था, जिसमें कुछ बाहरी लोगों के अलावा लालू प्रसाद के परिवार के सदस्यों राबड़ी देवी, मीसा भारती हेमा यादव को आरोपी बनाया गया है।

राष्ट्रीय जनता दल (RJD ) सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव की पत्नी पूर्व CM राबड़ी देवी की ‘गौशाला’ के एक पूर्व कर्मचारी ने रेलवे में नौकरी के इच्छुक एक अभियार्थी से संपत्ति हासिल की और बाद में इसे बिहार के पूर्व CM की बेटी हेमा यादव के नाम करवा दिया।

कात्याल को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने पिछले साल नवंबर में धनशोधन में लालू प्रसाद यादव और उनके परिवार की जानबूझकर सहायता करने के आरोप में गिरफ्तार किया था। वह फिलहाल न्यायिक हिरासत के तहत जेल में बंद है। सोमवार को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने मामले की जांच के तहत अपने पटना कार्यालय में 75 वर्षीय लालू प्रसाद यादव से पूछताछ की और उनका बयान दर्ज किया। उनके बेटे और बिहार के पूर्व डिप्टी CM तेजस्वी यादव को मामले में पूछताछ के लिए मंगलवार को पटना बुलाया गया है।

रेल भर्ती से जुड़े एक और घोटाले का आरोप यूपीए सरकार में रेल मंत्री रहे पवन बंसल के भांजे विजय सिंगला पर भी लगा है। पूरे मामले में भी CBI ने विजय सिंगला समेत 10 के खिलाफ FIR दर्ज की है। इस मामले में विजय सिंगला पर मनी लॉन्ड्रिंग का भी आरोप है। साल 2004 से साल 2009 के बीच लालू प्रसाद यादव यूपीए सरकार में रेल मंत्री थे। आरोप है कि लालू के रेल मंत्री रहते हुए रेलवे भर्ती में घोटाला हुआ। कहा जा रहा है कि नौकरी लगवाने का लालच देकर आवेदकों से जमीन और प्लॉट लिए गए। SBI ने इस मामले में जांच के बाद लालू प्रसाद यादव और उनकी बेटी मीसा भारती के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया। आरोप यह है कि जो जमीनें ली गईं वो राबड़ी देवी और मीसा भारती के नाम पर भी ली गईं।

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