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Amit Shah Sedition Law: राजद्रोह कानून खत्म, IPC में बड़े बदलाव का Bill लेकर आई केंद्र सरकार..!

केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार ने तीन ऐसे बिल लोकसभा में पेश किए हैं, जो कई कानूनों की नई परिभाषा तय कर सकती है। इस बिल से कई सारे कानून बदल जाएंगे। भारतीय न्याय संहिता बिल को आज लोकसभा में पेश किया गया है। ऐसे में कई बड़े बदलाव का प्रावधान किया गया है।

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लोकसभा में तीनों बिलों को पेश करते हुए गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि, इस कानून के तहत हम राजद्रोह जैसे कानून को खत्म कर रहे हैं। विधेयक में देश के विरुद्ध अपराध का प्रावधान है। विधेयक की धारा 150 में भारत की संप्रभुता, एकता और अखंडता को खतरे में डालने वाले कृत्यों से संबंधित सजा का प्रावधान है।

शाह ने कहा कि आगामी 15 अगस्त को आजादी का अमृत महोत्सव समाप्त होगा और 16 अगस्त से आजादी की 100 वर्ष की यात्रा की शुरुआत के साथ अमृत काल का आरंभ होगा।

आपराधिक दंड संहिता में होगा आमूलचूल परिवर्तन

अमित शाह ने भारतीय न्याय संहिता बिल, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता बिल 2023 और भारतीय साक्ष्य अधिनियम बिल पेश करते हुए बताया कि, राजद्रोह कानून को पूरी तरह से खत्म कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि, इन विधयकों से आपराधिक दंड संहिता में आमूलचूल परिवर्तन होगा। इसके अलावा इंडियन पैनल कोड अब भारतीय न्याय संहिता कही जाएगी।

विदित हो कि, अमित शाह लोकसभा में कहा कि, आज मैं जो तीन विधेयक एक साथ लेकर आया हूं। यह सभी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 5 प्रणों में से एक को पूरा करने वाले हैं। इन तीन विधेयक में एक है इंडियन पैनल कोड (IPC), एक है क्रिमिनल प्रोसीजर कोड (CRPC), तीसरा है इंडियन एविडेंस कोड (Indian Evidence Code)

महत्वपूर्ण बिंदु

  • IPC 1860 की जगह, अब भारतीय न्याय संहिता 2023 होगा।
  • CRPC की जगह भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता, 2023 प्रस्थापित होगी।
  • IEC, 1872 की जगह ‘भारतीय साक्ष्य अधिनियम’ प्रस्थापित होगा।

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  • 1860 से 2023 तक देश की आपराधिक न्याय प्रणाली अंग्रेजों द्वारा बनाए गए कानूनों के अनुसार काम करती थी।
  • इन तीन कानूनों के साथ देश में आपराधिक न्याय प्रणाली में एक बड़ा बदलाव आएगा।
  • इन विधेयक का उद्देश्य अदालतों में दोषसिद्धि की दर को 90 प्रतिशत से ऊपर लेकर जाना है।
  • जो धाराएं सात साल या उससे ज्यादा जेल की सजा का प्रावधान करती हैं।
  • इसके तहत मामलों में फॉरेंसिक टीम का अपराध स्थल पर जाना अनिवार्य किया जाएगा।

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